हर मंदिर का अपना ही अलग महत्व औऱ रहस्य होता है। दुनियाभर में भगवान शिव के ऐसे ही अनेक रहस्यमयी और चमत्कारी मंदिर है। कई मंदिरों के रहस्य आज तक भक्तों के लिए आश्चर्य का केन्द्र बना हुआ है। इन्हीं मंदिरों में से एक मंदिर है भगवान शिव का टूटी झरना मंदिर। भगवान शिव का यह टूटी झरना नामक मंदिर रामगढ़ (झारखंड) से 8 कि.मी. की दूरी पर स्थित है। भगवान शिव को समर्पित यह मंदिर बहुत ही अद्भुद है क्योंकि यहां भगवान के शिवलिंग का जलाभिषेक कोई और नहीं बल्कि स्वयं देवी गंगा करती हैं। सदियों से देवी गंगा निरंतर शिवलिंग पर जलधारा बहाती रहती है।
मान्यताओं के अनुसार, जब देश में अंग्रेजों का शासन था। तब खुदाई करते समय उन्हें यह शिवलिंग दिखा था। शिवलिंग के ठीक ऊपर देवी गंगा का मूर्ति स्थित थी, जिनकी नाभी से एक जलधारा निकल रही थी। वह जलधारा गंगा की नाभी से निकल कर उनकी हथेली से गुजरते हुए भगवान के शिवलिंग का जलाभिषेक करती हुई जा रही थी। उस दिन से लेकर आज तक देवी गंगा और भगवान शिव की वह मूर्तियां वहीं विराजित है और माना जाता है कि देवी गंगा के द्वारा भगवान का जलाभिषेक होता आ रहा है।
कब जाए- टूटी झरना मंदिर जाने के लिए साल को कोई भी समय चुना जा सकता है
कैसे पंहुचे- हवाई मार्ग – रामगढ़ से लगभग 31 कि.मी. की दूरी पर रांची एयरपोर्ट है। रांची तक हवाई मार्ग की सहायता से पहुंच कर, वहां से रामगढ़ रेल या बस की सहायता से पहुंचा जा सकता है। रामगढ़ पहुंचने के बाद निजी गाड़ी करके मंदिर पहुंच सकते है। रेल मार्ग – देश की लगभग सभी बड़े शहरों से रामगढ़ के लिए नियमित रेल गाड़ियां चलती है। जिनसे रामगढ़ तक आ कर वहां से निजी साधन करके टूटी झरना मंदिर पहुंचा जा सकता है। सड़क मार्ग – रामगढ़ स्थित टूटी झरना मंदिर पहुंचने के लिए सड़क मार्ग से भी जाया जा सकता है। देश के लगभग सभी बड़े शहरों से रामगढ़ के लिए बस चलती है।